नौकरी के दौरान नहीं किया कहीं पर भी निवेश, फिर भी बचा सकते हैं Tax-जानिए कैसे?

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नई दिल्ली । पश्चिमी दिल्ली की रहने वाली प्रिया सिंह बीते 4 साल से एक प्राइवेट कंपनी में काम कर रही हैं। बीते साल ही कंपनी में उनका इंक्रीमेंट हुआ और उनकी सैलरी टैक्सेबल ब्रैकेट में आ गई। फरवरी महीने में ही उन्हें अपना टैक्स बचाने के लिए निवेश से जुड़े डॉक्यूमेंट्स जमा कराने हैं। लेकिन उनके सामने मुश्किल यह है कि उन्होंने टैक्स बचाने के लिहाज से कहीं पर भी निवेश नहीं किया, फिर भी वो हर हाल में अपना टैक्स बचाना चाहती है। आमतौर पर करदाता यही जानते हैं कि आप सिर्फ खर्च पर ही टैक्स की बचत कर सकते हैं जबकि यह बात पूरी तरह से सही नहीं है। हम अपनी इस खबर में साक्षी पांड्या जैसे हजारों लोगों को वो समाधान बता रहे हैं जिससे बिना निवेश के भी टैक्स की बचत क्लेम की जा सकती है। इस विषय पर हमने टैक्स एक्सपर्ट अंकित गुप्ता से विस्तार से बात की है।

जानिए निवेश ही नहीं खर्च भी बचा सकता है टैक्स: आमतौर पर लोगों को यह जानकारी कम होती है कि उनकी ओर से विभिन्न मदों में किया गया खर्च भी एक वित्त वर्ष के दौरान उनका टैक्स बचा सकता है।

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आश्रित के इलाज पर खर्च बचा सकता है आपका पैसा: अगर कोई व्यक्ति खुद के ऊपर या अपने ऊपर आश्रित व्यक्ति की विशेष बीमारी के उपचार में खर्च करता है तो उसे 80डीडीबी के तहत कर लाभ मिलता है। इसमें माता-पिता, बच्चे और भाई-बहन शामिल होते हैं। एचयूएफ के मामले में इस कटौती का लाभ किसी भी सदस्य की ओर से किए गए व्यय के लिए किया जा सकता है।

80DDB के अंतर्गत कौन कर सकता है टैक्स कटौती के लिए क्लेम?

आयकर की धारा 80DDB के अंतर्गत टैक्स डिडक्शन का क्लेम इंडिविजुअल या एचयूएफ की ओर से किया जा सकता है। किसी कॉरपोरेट या संस्था की ओर से इस तरह का क्लेम नहीं किया जा सकता है। वहीं इस तरह का टैक्स डिडक्शन क्लेम सिर्फ करदाता की ओर से किया जा सकता है। यह सेक्शन नॉन रेजिडेंशियल इंडियन पर लागू नहीं होता है। डिडक्शन सिर्फ उसी व्यक्ति की ओर से किया जा सकता है जिसने खर्चा किया हो।

80DDB के अंतर्गत किसके इलाज के खर्च पर क्लेम कर सकते हैं टैक्स डिडक्शन?

80DDB के अंतर्गत सिर्फ वही व्यक्ति टैक्स डिडक्शन के लिए क्लेम कर सकता है जिसने इलाज के लिए खर्चा किया हो। हालांकि, चिकित्सा खर्च निम्नलिखित लोगों के इलाज के लिए किया जा सकता है:

इंडिविजुअल के मामले में चिकित्सा व्यय करदाता या उसके किसी आश्रित के चिकित्सा उपचार पर किया जा सकता है। इस खंड के संबंध में ‘आश्रितों’ में पति-पत्नी, उनके बच्चे, उनके माता-पिता, व्यक्ति या किसी की बहनें या उनमें से कोई भी शामिल माना जाएगा।
हिंदू अनडिवाइडेड फैमिली के मामले में चिकित्सा व्यय करदाता या उसके किसी आश्रित के चिकित्सा उपचार पर किया जा सकता है।
80DDB के अंतर्गत किस तरह का उपचार शामिल होता है?

निर्दिष्ट रोगों या बीमारियों के चिकित्सा उपचार के लिए किए गए चिकित्सा व्यय पर 80DDB के तहत टैक्स कटौती क्लेम करने की अनुमति मिलती है। इसमें इन-इन बीमारियों का उपचार शामिल माना जा सकता है।

न्यूरोलॉजिकल बीमारी, जिसकी पहचान एक विशेशज्ञ की ओर से की गई हो और जहां विकलांगता का स्तर 40% या उससे अधिक प्रमाणित किया गया हो। इसके इलावा इसमें डिमेंशिया (पागलपन), डिस्टोनिया मस्कुलरम डिफॉर्मन्स. चोरिया, मोटर न्यूरॉन डिजीज़, एटेक्सिया, अल्फासिया, पर्किंसन डिजीज़ और हेमीबलिस्मस शामिल होती हैं।
मैलाइन कैंसर

हिमेटोलॉजिकल डिसऑर्डर जैसे की हीमोफीलिया या थैलेसीमिया

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